कैसे काम करती है फसल बीमा योजना?
नामांकन: किसान अपनी फसल की बुआई के मौसम के दौरान राज्य सरकार या स्थानीय अधिकारियों के माध्यम से फसल बीमा योजना में नामांकित हो सकते हैं।
प्रीमियम भुगतान: किसान एक नाममात्र प्रीमियम का भुगतान करते हैं, जिसे केंद्र और राज्य सरकारें सब्सिडी देती हैं। प्रीमियम दरें फसल और क्षेत्र के आधार पर भिन्न होती हैं।
जोखिम कवरेज: बीमा योजना प्राकृतिक आपदाओं, कीटों, और बीमारियों से होने वाले नुकसान को कवर करती है। किसान को नुकसान की स्थिति में बीमा कंपनी को सूचित करना होता है।
दावा मूल्यांकन: बीमा कंपनियाँ फसल के नुकसान का मूल्यांकन करती हैं और दावों को तेजी से निपटाती हैं।
दावा भुगतान: अनुमोदित दावों के आधार पर किसानों को मुआवजा प्रदान किया जाता है, जिससे उन्हें आर्थिक राहत मिलती है।